उत्तराखंड पुलिस में सिपाही से इंस्पेक्टर बने ओलंपियन मनीष रावत

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उत्तराखंड पुलिस में सिपाही से इंस्पेक्टर बने ओलंपियन मनीष रावत

बुधवार को कैंट रोड़ स्थित मुख्यमंत्री आवास में आयोजित कार्यक्रम में मुख्यमंत्री हरीश रावत ने उत्तराखण्ड पुलिस के प्रथम ओलम्पियन मनीष रावत को पुलिस निरीक्षक पद पर प्रोन्नति के बाद रैंक प्रदान की। रियो ओलम्पिक में 20 किमी रेस वाॅक में उत्कृष्ट प्रदर्शन करते हुए 13 वां स्थान प्राप्त करने पर मुख्यमंत्री रावत ने आरक्षी


बुधवार को कैंट रोड़ स्थित मुख्यमंत्री आवास में आयोजित कार्यक्रम में मुख्यमंत्री हरीश रावत ने उत्तराखण्ड पुलिस के प्रथम ओलम्पियन मनीष रावत को पुलिस निरीक्षक पद पर प्रोन्नति के बाद रैंक प्रदान की। रियो ओलम्पिक में 20 किमी रेस वाॅक में उत्कृष्ट प्रदर्शन करते हुए 13 वां स्थान प्राप्त करने पर मुख्यमंत्री रावत ने आरक्षी मनीष रावत की इंस्पेक्टर पद पर प्रोन्नति को स्वीकृति दी थी। इसी क्रम में बुधवार को आयोजित कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने मनीष रावत को रैंक प्रदान की।

मनीष रावत ने 20 किमी की रेस वाॅक को 1 घंटा, 21 मिनिट व 21 सेकेंड में पूरा करते हुए विभिन्न देशों के 141 प्रतिभागियों में 13 वां स्थान प्राप्त किया था। वे मात्र 1 मिनिट 46 सेकेंड से कांस्य पदक चूक गए थे।

मनीष रावत को इंस्पेक्टर पद की रैंक प्रदान करते हुए मुख्यमंत्री रावत ने कहा कि मनीष की उपलब्धि हम सभी उत्तराखण्डवासियों की उपलब्धि है। हमें विश्वास है कि अगले ओलम्पिक में पदक जीत कर मनीष हमें फिर से उत्सव मनाने का मौका देंगे। ‘‘मनीष को सम्मानित करते हुए मैं स्वयं को गौरान्वित महसूस कर रहा हूं। मनीष का इंस्पेक्टर के तौर पर प्रोन्नति खेल में आगे झंडा बुलन्द करने की शुरूआत है’’।

मुख्यमंत्री ने मनीष की माताजी उर्मिला देवी व कोच अनूप बिष्ट को मंच पर आमत्रित कर सम्मानित किया। खेल विभाग की तरफ से भी मनीष रावत को पांच लाख रूपए का चैक प्रदान किया गया।

मुख्यमंत्री रावत ने कहा कि प्रदेश सरकार राज्य में खेलों का वातावरण बनाने का प्रयास कर रही है। बहुत सारे लोग व्यक्तिगत तौर पर भी खेल के क्षेत्र में अपना योगदान कर रहे हैं। उत्तराखण्ड में खेल का जज्बा प्रारम्भ से ही रहा है। यह जज्बा आज भी बरकरार है। केवल इसे और व्यवस्थित किए जाने की जरूरत है। हमें कई मनीष तैयार करने हैं।
मुख्यमंत्री रावत ने खेल कोटे से पुलिस विभाग में भर्ती के लिए पुलिस महानिदेशक को प्रस्ताव बनाकर देने को कहा। उन्होंने हाई एल्टीट्यूड के कुछ खेल मैदानों को पुलिस विभाग के अंतर्गत देने की बात भी कही।

मुख्यमंत्री रावत ने कहा कि खेलों में मिलने वाली उपलब्धियों को हम अपनी सामूहिक उपलब्धि के तौर लेते हैं और एक राष्ट्र के रूप में गौरव की अनुभूति करते हैं। हम अपने सीमित संसाधनों के होते हुए भी खेल व खिलाड़ियों को प्रोत्साहित करने का हरसम्भव प्रयास कर रहे हैं। प्राईवेट सेक्टर से यदि कोई खेल सुविधाएं विकसित करने में आगे आते हैं तो सरकार उनके निवेश में साझा करने को तत्पर है।

खेल मंत्री दिनेश अग्रवाल ने कहा कि मेडल मिलने पर पूरा देश गौरान्वित होता है। राज्य सरकार सीमित संसाधनों में भी प्रदेश में खेल का इंफ्रास्ट्रक्चर विकसित कर रही है। देहरादून व हल्द्वानी में अंतर्राष्ट्रीय स्तर के स्टैडियम विकसित कर रही है। पिथौरागढ़ में भी स्पोर्ट्स कालेज प्रारम्भ किया गया है।

मनीष रावत ने इस अवसर पर अपने भावुक सम्बोधन में किए गए सम्मान के लिए धन्यवाद किया। उन्होंने इंस्पेक्टर पद पर प्रोन्नति के लिए भी मुख्यमंत्री रावत का आभार भी व्यक्त किया। मनीष ने कहा कि उनकी उपलब्धि का पूरा श्रेय उनकी माताजी व उनके कोच को जाता है। कार्यक्रम को पुलिस महानिदेशक एमए गणपति, प्रमुख मुख्य सचिव डा.उमाकांत पंवार ने भी सम्बोधित किया। अपर पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार ने मनीष रावत के इवेंट में किए गए प्रदर्शन के बारे में जानकारी दी।
इस अवसर पर मेयर विनोद चमोली, प्रसिद्ध पर्यावरणविद सुदरलाल बहुगुणा उनकी धर्मपत्नी, पूर्व मंत्री एनएस राणा, सचिव विनोद शर्मा सहित वरिष्ठ पुलिस अधिकारी, खेल जगत से जुडे़ लोग मौजूद थे।

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