उत्तराखंड परिवहन विभाग में जल्द होंगी 500 पदों पर भर्तियां
देहरादून (उत्तराखंड पोस्ट ब्यूरो) रोजगार की तलाश कर रहे युवाओं के लिए खुशखबरी है क्योंकि उत्तराखंड परिवहन विभाग में जल्द ही प्रदेश के युवाओं के लिए रोजगार के दरवाजे खोलने जा रहा है। इसके लिए परिवहन महकमा विभागीय ढांचे का संशोधन कर तकरीबन नए 500 कर्मचारी रखने की तैयारी कर रहा है। इसके लिए मुख्यालय स्तर
देहरादून (उत्तराखंड पोस्ट ब्यूरो) रोजगार की तलाश कर रहे युवाओं के लिए खुशखबरी है क्योंकि उत्तराखंड परिवहन विभाग में जल्द ही प्रदेश के युवाओं के लिए रोजगार के दरवाजे खोलने जा रहा है। इसके लिए परिवहन महकमा विभागीय ढांचे का संशोधन कर तकरीबन नए 500 कर्मचारी रखने की तैयारी कर रहा है।
इसके लिए मुख्यालय स्तर पर बकायदा प्रस्ताव तैयार कर लिया गया है। इसमें नई भर्ती के साथ ही प्रवर्तन कर्मियों को पदोन्नति के अधिक अवसर देने के लिए विभाग में सब इंस्पेक्टर व इंस्पेक्टर का नया पद सृजित करने की भी सिफारिश की गई है। नई भर्तियों के पीछे मंशा यह है विभागीय कार्य में तेजी आने के साथ ही सड़क सुरक्षा के मद्देनजर तहसील स्तर तक प्रवर्तन कार्यो को अंजाम दिया जा सके।
परिवहन विभाग के कर्मचारी ढांचे में वर्ष 2004 के बाद कोई बदलाव नहीं हुआ है। इस दौरान विभाग में एआरटीओ कार्यालयों की संख्या 14 से बढ़कर 18 हो गई है। इतना ही नहीं विभाग में बड़ी संख्या में कर्मचारी सेवानिवृत भी हुए हैं। अभी स्थिति यह है कि विभाग के ढांचे में स्वीकृत 800 पदों के सापेक्ष केवल 550 अधिकारी कर्मचारी ही कार्यरत हैं। इस कारण विभाग में कार्य प्रभावित हो रहा है। हाल के वर्षो में सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर गठित सड़क सुरक्षा समिति ने देश भर में सड़क सुरक्षा को लेकर कई दिशा निर्देश जारी किए हैं। इसके तहत प्रदेश में सड़क सुरक्षा का एक अलग प्रकोष्ठ भी गठित किया गया है। समिति के निर्देशों के क्रम में ही अब सड़क सुरक्षा के मद्देनजर सघन चेकिंग अभियान चलाए जाने हैं।
अभी परिवहन विभाग में जिला स्तर पर ही एक या दो प्रवर्तन दल तैनात हैं। इस कारण विभाग इतने बड़े भाग में नियमित चेकिंग नहीं चला पाता है। जिस तरह से प्रदेश में वाहनों की संख्या बढ़ रही है उसे देखते हुए प्रवर्तन दलों की चेकिंग का दायरा सीमित हो गया है। विभाग की मंशा इसका दायरा अब तहसील तक बढ़ाने की है। इसके लिए प्रवर्तन दलों की संख्या बढ़ाने की की जरूरत है। इसके लिए भी नए कर्मचारी रखे जाने हैं। चूंकि विभाग में एआरटीओ के सीमित पद हैं, ऐसे में तहसील स्तर पर प्रवर्तन दलों की कमान इंस्पेक्टर स्तर के अधिकारियों को देनी प्रस्तावित है। इसके लिए इंस्पेक्टर का नया पद सृजित होगा। इससे विभाग में प्रवर्तन सिपाहियों के सामने पदोन्नति के रास्ते भी खुलेंगे।
अभी तक प्रवर्तन सिपाही मात्र हेड कांस्टेबल बन कर रिटायर हो जाता है। इसके अलावा विभाग में फिटनेस और लाइसेंस आदि का कार्य ऑनलाइन हो गया है। इस नए कार्य में कई चरणों में एंट्री करनी होती है इसके लिए भी नए कर्मचारियों की जरूरत है। इसे देखते हुए पूरे ढांचे में साठ प्रतिशत स्टाफ की बढ़ोत्तरी प्रस्तावित की गई है।
विभाग में प्रशासनिक, वरिष्ठ प्रशासनिक व मुख्य प्रशासनिक अधिकारी के पद तो हाल में स्वीकृत हो चुके हैं लेकिन इनके कार्यो की स्पष्ट व्याख्या नहीं है। विभागीय प्रस्ताव में इनके कार्यो की अलग व्याख्या भी की गई है। सूत्रों की मानें तो यह प्रस्ताव तकरीबन तैयार है अब इसमें आयुक्त परिवहन की मुहर भर लगनी है। इसके बाद इसे स्वीकृति के लिए शासन को भेजा जाएगा।
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