हरीश रावत का दो बार करीब से हुआ मौत से सामना, कैसे किया मौत को पराजित ?

उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत मानते हैं कि जीवन में दो बार उन्होंने मौत का मात दी है। इस मुश्किल वक्त में हरीश रावत के क्या मनोभाव थे अब हरीश रावत इसको लोगों के साथ शेयर करेंगे।
 

 

देहरादून (उत्तराखंड पोस्ट) उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत मानते हैं कि जीवन में दो बार उन्होंने मौत का मात दी है। इस मुश्किल वक्त में हरीश रावत के क्या मनोभाव थे अब हरीश रावत इसको लोगों के साथ शेयर करेंगे।

हरीश रावत इस बारे में कहते है- मेरे जीवन में कई खतरनाक व चिंतापूर्ण अवसर आये, ईष्ट देवता ने हमेशा मुझे संकट से बाहर निकाला। दो अवसर ऐसे आये जिनको मैं सार्वजनिक जीवन में अपने लिए एक बड़ी संकल्पमय चुनौती मानता हूं। जिनमें जिंदगी ने मुझसे लंबे समय तक आंख मिचौली की, केवल-केवल संकल्प सूत्र और ईष्ट देवता के उस संकल्प सूत्र के साथ जुड़े आशीर्वाद से मैं मौत को पराजित कर पाया।

पूर्व सीएम ने कहा- यूं तो मौत को केवल ईश्वर ही पराजित करता है। मगर ईश्वर की कृपा से मैं न केवल स्वस्थ हुआ, बल्कि मैंने अपने संकल्प सूत्रों को आगे बढ़ाने में अपने आपको पूरी तरीके से झौंक दिया।

हरीश रावत ने आगे कहा- मैं कुछ न कुछ अपने भावों को आपके साथ बांटता रहता हूं, इन दो अवसरों पर क्या कुछ मेरे मनोभाव थे, उनको मैं आपके साथ बांटना चाहता हूं और आने वाले बृहस्पतिवार, दिनांक-1 जुलाई, 2021 से मैं अपने फेसबुक पेज पर अपने इन अवसरों को छोटे-छोटे लेखों के रूप में आपके साथ साझा करूंगा।