उत्तराखंड | बेरोजगार युवकों को सेना में भर्ती के नाम पर ठगने वाला गिरफ्तार, खुद को बताता था लेफ्टिनेंट

 
 बेरोजगार युवकों को सेना में भर्ती के नाम पर फर्जी नियुक्ति पत्र देकर करोड़ों रुपये ठगने वाले गिरोह के एक सदस्य को एसटीएफ ने देहरादून से गिरफ्तार किया है। जबकि तीन अन्य सदस्य अभी फरार हैं। पुलिस फरार आरोपितों की तलाश में जुटी हुई है।
 

देहरादून (उत्तराखंड पोस्ट ) बेरोजगार युवकों को सेना में भर्ती के नाम पर फर्जी नियुक्ति पत्र देकर करोड़ों रुपये ठगने वाले गिरोह के एक सदस्य को एसटीएफ ने देहरादून से गिरफ्तार किया है। जबकि तीन अन्य सदस्य अभी फरार हैं। पुलिस फरार आरोपितों की तलाश में जुटी हुई है।

एसएसपी STF अजय सिंह ने बताया कि एसटीएफ को सूचना मिली कि सेना में नौकरी लगवाने के नाम पर ठगी करने वाला गिरोह देहरादून में सक्रिय है। जिस पर एसटीएफ एवं आर्मी इंटेलीजेंस की टीम ने इस संबंध में सूचना जानकारी हासिल की। जांच के दौरान सामने आया कि गिरोह का एक सदस्य देहरादून में रहता है। वो खुद को सेना में लेफ्टिनेंट बताता है। मुखबिरों की सूचना पर एसटीएफ को गिरोह के सदस्य का बल्लीवाला चौक के आसपास होने की जानकारी मिली।

जिसके बाद STF ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया। आरोपी की पहचान अंकुर कुमार पुत्र सोमपाल सिंह निवासी यूनियन बैंक वाली गली, निकट वन्यजीव इंस्टीट्यूट चंद्रबनी के रूप में हुई।

पूछताछ में गिरोह के तीन और सदस्यों अंकित निवासी धामपुर (बिजनौर), गावस्कर चौहान उर्फ आशु निवासी अमरोहा व निपेंद्र चौहान उर्फ कंचन चौहान निवासी अमरोहा के नाम भी सामने आए है। जिनकी गिरफ्तारी के लिए एसटीएफ ने टीमें रवाना कर दी है।

गिरोह उत्तर प्रदेश के मेरठ, मुजफ्फरनगर, बिजनौर तथा दिल्ली आदि ऐसे युवकों को निशाना बनाते थे, जो सेना में भर्ती होना चाहते थे। इसके बाद वह युवकों को क्लर्क, जीडी में भर्ती का फर्जी नियुक्ति पत्र देकर उन्हें लाखों रुपये हड़प लेते थे। एसटीएफ को अंकुर के खातों को चेक करने पर विगत सालों से उसके खाते से डेढ़ करोड़ रुपये के बैंक लेन-देन होना पाया गया। एसटीएफ के मुताबिक अभी तक 20 युवकों से धोखाधड़ी का पता चला है।