उत्तराखंड | इमरजेंसी वार्ड के अंदर क्यों और कैसे पहुंची पुलिस की गाड़ी, जानिए पूरा मामला

 
 

ऋषिकेश (उत्तराखंड पोस्ट) AIIMS ऋषिकेश में पुलिस की एक गाड़ी आरोपी को पकड़ने के लिए अस्पताल की चौथी फ्लोर पर मरीजों से भरी इमरजेंसी वार्ड में घुस गई थी, जिसके बाद पुलिस ने छेड़छाड़ के आरोपी को पकड़ कर ही दम लिया था।


वहां तक पुलिस की गाड़ी कैसे और क्यों पहुंची इस पर अब ऋषिकेश एम्स के निदेशक मीनू सिंह ने सफाई दी है। उन्होंने कहा- अस्पताल में एक घटना घटी थी जिसमें महिला डॉक्टर के साथ छेड़छाड़ की गई थी। आरोपी को मनोरोग वार्ड में भर्ती कराया गया था।

 

 

डॉक्टर आरोपी के खिलाफ जल्द से जल्द कार्रवाई चाहती थी और उन्होंने वार्ड का 'घेराव' कर दिया था। इसी वजह से पुलिस ने आरोपी को बाहर निकालने के लिए कार का इस्तेमाल किया। हमारे बैटरी चालित वाहनों के लिए बनाए गए रैंप का इस्तेमाल पुलिस ने किया. यह एक इमरजेंसी एक्शन था जिसमें कोई भी मरीज घायल नहीं हुआ।

दरअसल ये घटना 19 मई की शाम की है जब ऋषिकेश एम्स के ऑपरेशन थियेटर में सर्जरी चल रही थी, उसी सर्जरी विभाग में काम करने वाली महिला डॉक्टर के साथ नर्सिंग कर्मचारी सतीश कुमार ने छेड़छाड़ कर दी थी जिसके बाद बवाल मच गया। आरोपी कर्मचारी के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग करते हुए डॉक्टरों ने हड़ताल शुरू कर दिया और डीन कार्यालय का भी घेराव किया। जब पुलिस को इसकी शिकायत मिली तो पुलिस ने केस दर्ज कर आरोपी सतीश कुमार के खिलाफ केस दर्ज कर कार्रवाई करने पहुंची।

पुलिस आरोपी को गिरफ्तार करने जब अस्पताल पहुंची तो पता लगा की वो चौथी मंजिर पर है, उसे तुरंत पकड़ने के लिए पुलिस जीप लेकर चौथे फ्लोर के इमरजेंसी वार्ड में घुस गई और इस दौरान अस्पताल में मौजूद गार्ड सीटी बजाकर और स्ट्रेचर हटाते हुए गाड़ी के लिए रास्ते बनाते नजर आए। इमरजेंसी वार्ड के अंदर पुलिस की गाड़ी देखकर मरीज के साथ ही लोग भी हैरान हो गए।