बड़ी खबर | WHO ने रेमडेसिविर पर लगाई रोक, कोरोना वायरस की दवाओं की लिस्ट से किया बाहर

इस बीच रेमडेसिविर (Remedesivir) को लेकर बड़ी खबर सामने आई है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने इस रेमडेसिविर इंजेक्शन को कोरोना मरीजों के इलाज से जुड़े प्रोटोकॉल की सूची से हटा दिया है।
 

नई दिल्ली (उत्तराखंड पोस्ट) देश में कोरोना के मामले अब तेजी से घटने शुरू हो गए हैं। हालांकि कोरोना की थमती रफ्तार के बावजूद मौत का आंकड़ा डराने लगा है।

स्‍वास्‍थ्‍य मंत्रालय (Health Ministry) के आंकड़ों के मुताबिक देश में पिछले 24 घंटे में कोरोना के 2,5,299 नए मामले सामने आए हैं जबकि 4194 मरीजों को अपनी जान गंवानी पड़ी है। कोरोना के नए मामलों के बाद देश में कुल संक्रमित मरीजों की संख्‍या 2 करोड़ 62 लाख 89 हजार 290 हो गई है।

इस बीच रेमडेसिविर (Remedesivir) को लेकर बड़ी खबर सामने आई है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने इस रेमडेसिविर इंजेक्शन को कोरोना मरीजों के इलाज से जुड़े प्रोटोकॉल की सूची से हटा दिया है।

नवभारत टाइम्स में प्रकाशित रिपोर्ट के मुताबिक WHO ने इस इंजेक्शन को कोरोना मरीजों के इलाज से जुड़ी सूची से सस्पेंड कर दिया है। यानी वैश्विक संस्था ने रेमडेसिविर को अपनी प्री क्वालिफिकेशन सूची से हटा दिया है। ये फैसला लेने से पहले WHO ने कोविड मरीजों के इलाज के दौरान इसके इस्तेमाल को लेकर चेतावनी भी जारी की थी।

क्या होती है प्री-क्वॉलिफिकेशन लिस्ट ?

इस लिस्ट का इस्तेमाल विकासशील देश दवा हासिल करने के लिए करते हैं।

बता दें कि कि WHO  के दावों के उलट भारत समेत दुनिया के कई देशों में कोरोना मरीजों के इलाज के लिए रेमडेसिविर का इस्तेमाल किया जा रहा है। भारत में कोविड-19 (Covid-19) मरीजों के इलाज में तो इस रेमडेसिविर का जमकर इस्तेमाल हुआ। ऐसा कहा गया कि इसकी वजह से कोरोना पीड़ितों की जान बच रही है।

लेकिन इस पर सवाल भी उठे है। गंगा राम अस्पताल के प्रमुख डॉक्टरों में एक डॉक्टर राणा इसके कोरोना इलाज में प्रभावी होने की क्षमता पर सवाल उठा चुके हैं। देश में भी इसे कोविड इलाज की सूची से बाहर करने की चर्चा चल रही थी।