हरदा का धामी सरकार पर वार, बोले- राजनीति में आप बद्दुआओं से बच नहीं सकते , कदम उठाइए

हम बहुधा दुआओं की बात करते हैं और सत्यता है कि दुआएं काम करती हैं। मगर जब हम दुआओं की बात करते हैं तो हमको एक बात ध्यान में रखनी पड़ती है कि बद्दुआएं पाने से बचें। मगर राजनीति एक ऐसा खेल है जिसमें चाहते हुये भी आप बद्दुआओं से नहीं बच सकते हैं।
 
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देहरादून (उत्तराखंड पोस्ट) हरीश रावत ने एक बार फिर से धामी सरकार पर निशाना साधा है। पूर्व सीएम ने स्वास्थ्य सेवाओं पर सवाल उठाते हुए सरकार पर तीखा प्रहार किया है।

हरीश रावत इस बारे में लिखते हैं- हम बहुधा दुआओं की बात करते हैं और सत्यता है कि दुआएं काम करती हैं। मगर जब हम दुआओं की बात करते हैं तो हमको एक बात ध्यान में रखनी पड़ती है कि बद्दुआएं पाने से बचें। मगर राजनीति एक ऐसा खेल है जिसमें चाहते हुये भी आप बद्दुआओं से नहीं बच सकते हैं। मैंने कल एक महत्वपूर्ण विषय पर जिसमें स्पष्ट तौर पर सरकार आकंठ भ्रष्टाचार में डूबी नजर आ रही है, ट्वीट करने से अपने आपको रोका। मगर आज एक ऐसा समाचार देखने को मिला जिसने मन को हिला दिया और अनन्तोगत्वा मैं सोने से पहले ट्वीट करने से अपने आपको नहीं रोक पाया।

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पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने इस बारे में आगे लिखा- इस राज्य के एक महत्वपूर्ण शहर में जो एक प्रकार से हमारी औद्योगिक नगरी भी है, नामचीन सरकारी हॉस्पिटल में पोस्टमार्टम करने के लिए कुल्हाड़ी, दरातियों और चाकू का उपयोग करने के समाचार ने मुझे अंदर तक हिला दिया। मैं, भगवान से प्रार्थना कर रहा हूं कि यह समाचार तथ्य परख न हो। मगर मन बहुत खिन्न है।

हरदा ने कहा- यदि रुद्रपुर के हॉस्पिटल में यह स्थिति है तो फिर दूर दराज के हॉस्पिटल्स में क्या स्थिति होगी हमारी मेडिकल सेवाओं की ? अब ऐसा नहीं है कि हम दो-चार साल के बच्चा राज्य हैं! बड़ी कल्पनाओं और बड़ी उड़ानों के साथ खड़े हों। मुझे विश्वास है कि सत्ता ने इस समाचार का न केवल संज्ञान लिया होगा बल्कि ऐसी स्थितियां न आ रही हों, न आएं इसके लिए यथोचित कदम उठाने के स्पष्ट निर्देश भी दिये होंगे, उन लोगों के लिए क्या कहा जाए जिनकी यह समाचार अक्रमण्डता की कहानी कह रहा है, वह मैं मुख्यमंत्री जी के विवेक पर छोड़ता हूं कि ऐसे लोगों के लिए उनके पास क्या उपचार है !!

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