10वीं की 3 विषय की परीक्षा के बाद हुई मौत, मिले 100 प्रतिशत अंक

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10वीं की 3 विषय की परीक्षा के बाद हुई मौत, मिले 100 प्रतिशत अंक

नई दिल्ली(उत्तराखंड पोस्ट) नोएडा के एमिटी स्कूल में पढ़ने वाले विनायक श्रीधर की 10वीं बोर्ड की तीन परीक्षा देने के बाद ही मौत हो गई विनायक श्रीधर को इन तीन विषयों में करीब 100 प्रतिशत अंक हासिल हुए हैं। बता दें विनायक श्रीधर को 2 साल की उम्र से मस्क्युलर डायस्ट्रोफी की समस्या थी। यह


नई दिल्ली(उत्तराखंड पोस्ट) नोएडा के एमिटी स्कूल में पढ़ने वाले विनायक श्रीधर की 10वीं बोर्ड की तीन परीक्षा देने के बाद ही मौत हो गई विनायक श्रीधर को इन तीन विषयों में करीब 100 प्रतिशत अंक हासिल हुए हैं।

बता दें विनायक श्रीधर को 2 साल की उम्र से मस्क्युलर डायस्ट्रोफी की समस्या थी। यह एक ऐसी जेनेटिक बीमारी है जिसमें मांसपेशियां कमजोर हो जाती हैं, ममता कहती हैं, मेरा पूरा दिन उसके पीछे घूमता था। उसे ब्रश कराने से लेकर खाना खिलाने तक, मैंने सब खुद किया लेकिन यह उसकी इच्छाशक्ति थी जिसने हमें ताकत दी थी।’लेकिन इसके बावजूद उसने विशेष कैटिगरी में नहीं बल्कि जनरल कैटिगरी में परीक्षा दी थी।

उसकी मां ममता श्रीधर ने कहा, ‘उसकी मांसपेशियों का मूवमेंट सीमित था। वह धीरे-धीरे लिख सकता था लेकिन परीक्षा में टाइम ड्यूरेशन होता है तो उसने अंग्रेजी और साइंस परीक्षा में स्क्राइब का इस्तेमाल किया, लेकिन संस्कृत में उसने खुद लिखने की जिद की थी। वह वीलचेयर पर रहता था, लेकिन उसका दिमाग बहुत तेज था और महात्वाकांक्षा बड़ी थी।’

ममता ने कहा, ‘वह हमेशा कहता था कि मैं एस्ट्रोनॉट बनना चाहता हूं और कहता था कि अगर स्टीफन हॉकिंग ऑक्सफर्ड जाकर कॉस्मोलोजी में नाम बना सकते हैं तो मैं भी स्पेस जा सकता हूं। उसे इस बात का भरोसा था कि वह टॉपर्स में रहेगा। हमें उसके आत्मविश्वास पर हैरानी होती थी और हम उसे प्रोत्साहित करते थे।’ टॉप करना, अंतरिक्ष वैज्ञानिक बनना और रामेश्वरम घूमना उसके सपनों में से एक थे।

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विनायक ने परीक्षा के बाद कन्याकुमारी के नजदीक स्थित रामेश्वरम मंदिर घूमने का प्लान किया था। उसकी मां ने कहा, ‘हम आज रामेश्वरम में हैं और शाम में दर्शन करने जाएंगे। यह उसकी अधूरी ख्वाइश थी इसलिए हमने इसे न टालने का फैसला किया।’ विनायक कीबहन भी इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ साइंस की स्टूडेंट रही हैं और फिलहाल ब्रिटिश कोलंबिया यूनिवर्सिटी से पीएचडी कर रही हैं।विनायक के पिता जीएमआर में वाइस प्रेजिडेंट और मां होममेकर हैं।

बता दें विनायक को अंग्रेजी में 100, विज्ञान में 96 और संस्कृत में 97 प्रतिशत अंक हासिल हुए हैं जबकि कम्प्युटर साइंस और सोशल स्टडी की परीक्षा में वह शामिल नहीं हो पाया।

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