UPSC परीक्षा में उत्तराखंड के युवाओं का धमाल, IAS के लिए हुआ चयन
रुद्रपुर की ईश्वर कॉलोनी निवासी गरिमा ने पहले ही प्रयास में आईएएस की परीक्षा में 39 वी रैंक प्राप्त की। इनके पिता बिपिन नरूला एक पैथोलॉजी लैब में प्रबंधक हैं व माता शारदा नरूला गृहणी हैं। गरिमा ने वर्ष 2017 में सीबीएसई की बोर्ड परीक्षा में उधम सिंह नगर जिला टॉप भी किया था।
देहरादून (उत्तराखंड पोस्ट) संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) ने सिविल सेवा 2022 परीक्षा का परिणाम जारी कर दिया है। इसमें आईएएस के पद पर चयन के लिए 180 उम्मीदवारों को शॉर्टलिस्ट किया गया है। जिसमें से उत्तराखंड के कई युवाओं ने डंका बजाया है।
रुद्रपुर की ईश्वर कॉलोनी निवासी गरिमा ने पहले ही प्रयास में आईएएस की परीक्षा में 39 वी रैंक प्राप्त की। इनके पिता बिपिन नरूला एक पैथोलॉजी लैब में प्रबंधक हैं व माता शारदा नरूला गृहणी हैं। गरिमा ने वर्ष 2017 में सीबीएसई की बोर्ड परीक्षा में उधम सिंह नगर जिला टॉप भी किया था।
चमोली की मुद्रा गैरोला ने यूपीएससी परीक्षा में प्राप्त की 53वीं रैंक। ग्राम बांगड़ी (पट्टी कपीरी) कर्णप्रयाग चमोली की मूल निवासी अरुण गैरोला एवं कुसुम गैरोला की सुपुत्री मुद्रा गैरोला ने इस बार यूपीएससी में 53 वीं रैंक प्राप्त कर आईएएस के लिए चयनित हुई पिछले वर्ष की यूपीएससी परीक्षा में 165 रैंक के साथ आईपीएस हेतु चयनित हुई थी और वर्तमान में आईपीएस ट्रेनिंग अकादमी हैदराबाद में प्रशिक्षण ले रहीं हैं।
हल्द्वानी पीलीकोठी निवासी दीक्षिता जोशी ने यूपीएससी परीक्षा में 58वीं रैंक हासिल कर आईएएस अधिकारी बनकर देशभर में प्रदेश और जिले का मान बढ़ाने का काम किया है। दीक्षिता की माता दीपा जोशी पहाड़पानी के खीमराम आर्य राजकीय इंटर कॉलेज में हिंदी विषय की प्रवक्ता है और पिता आईके पांडे नैनीताल बीडी पांडे अस्पताल में फार्मासिस्ट के पद पर तैनात हैं।
बागेश्वर में गरुड़ निवासी कल्पना पांडे की 102 रैंक आई है। कल्पना की 10वीं तक की शिक्षा गरुड़ से तथा आगे की शिक्षा दिल्ली से सम्पन्न हुई। इनके पिताजी गरुड़ बाजार में दुकान चलाते हैं।
रुद्रप्रयाग जिले के कंचन डिमरी ने भी यूपीएससी परीक्षा में सफलता हासिल की है। रुद्रप्रयाग जनपद की कंचन डिमरी मुख्यालय से सटे गांव स्वीली की रहने वाली हैं। स्वर्गीय घनानंद डिमरी की सुपौत्री एवं देवी प्रसाद डिमरी की पुत्री कंचन डिमरी के आईएएस में चयन होने से सम्पूर्ण परिवार में खुशी का माहौल है। कंचन के पिता देवी प्रसाद डिमरी दिल्ली में एक प्राइवेट कंपनी में सामान्य नौकरी पर हैं।
दून निवासी मुकुल जमलोकी ने चौथी बार सफलता पाई, उन्होंने 161वीं रैंक हासिल की है। वर्तमान में वे सीएजी कार्यालय कोलकाता में डिप्टी अकाउंटेंट जनरल के पद पर कार्यरत हैं।
मूलरूप से पिथौरागढ़ व वर्तमान में दून निवासी हिमांशु सामंत ने परीक्षा में 348वीं रैंक हासिल की है।
मसूरी निवासी माधव भारद्वाज ने सिविल सेवा परीक्षा में 536वीं रैंक हासिल की है। इससे पहले उन्होंने यूपीपीसीएस परीक्षा में सफलता अर्जित की थी। वह वर्तमान में शामली में तहसीलदार के पद पर कार्यरत हैं।
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