कोरोना वैक्सीन लगवाने वालों का दो साल के अंदर मरना तय ! क्या आपके पास भी आया ये मैसेज

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कोरोना वैक्सीन लगवाने वालों का दो साल के अंदर मरना तय ! क्या आपके पास भी आया ये मैसेज

Fact Check

कोरोना वायरस महामारी(Covid Vaccination in India) को हराने के लिए सरकार वैक्सीनेशन में तेजी ला रही है। दूसरी तरफ कुछ लोग वैक्सीनेशन को लेकर सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाने में जुटे हैं।


 

नई दिल्ली (उत्तराखंड पोस्ट) कोरोना वायरस महामारी(Covid Vaccination in India) को हराने के लिए सरकार वैक्सीनेशन में तेजी ला रही है। दूसरी तरफ कुछ लोग वैक्सीनेशन को लेकर सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाने में जुटे हैं।

इस बीच सोशल मीडिया पर एक पोस्ट तेजी से वायरल हो रहा है, जिसमें फ्रेंच नोबेल विजेता के हवाले से कहा जा रहा है कि कोरोना वैक्सीन लगवाने वाले लोगों की 2 साल के अंदर मौत तय है। आखिर इस दावे का सच क्या है ? आईए आपको बताते हैं।

ख़बर में किया जा रहा दावा: नोबल विजेता और फ्रेंच वायरोलॉजिस्ट ल्यूक मॉन्टेनियर के हवाले से कहा जा रहा है कि कोरोना वैक्सीन लगवाने वाले लोगों की 2 साल के अंदर मौत तय है। सोशल मीडिया पर नोबल विजेता और फ्रेंच वायरोलॉजिस्ट ल्यूक मॉन्टेनियर के हवाले से खबर शेयर की गई है। वायरल मैसेज में लिखा है- 'वैक्सीन लगवाने वाले सभी लोग दो साल के अंदर मर जाएंगे। नोबेल विजेता ल्यूक मॉन्टेनियर ने पुष्टि की है कि जिन लोगों को वैक्सीन दी गई है, उनके बचने की कोई संभावना नहीं है। चौंकाने वाले साक्षात्कार में, दुनिया के शीर्ष वायरोलॉजिस्ट ने स्पष्ट रूप से कहा: उन लोगों के लिए कोई उम्मीद नहीं है, और जिनके लिए पहले से ही टीका लगाया गया है, उनके लिए कोई संभावित इलाज नहीं है। हमें शवों को भस्म करने के लिए तैयार रहना चाहिए। बताया गया मौत का कारणमैसेज में कहा गया है- वैक्सीन के घटकों का अध्ययन करने के बाद अन्य प्रमुख वायरोलॉजिस्टों ने वैज्ञानिक के दावों का समर्थन किया। वे सभी एंटीबॉडी निर्भर वृद्धि से मर जाएंगे।

सच क्या है ? -  पीआईबी फैक्ट चैक ने इस ख़बर का सच बताते हुए कहा- यह दावा फ़र्ज़ी है। भारत सरकार द्वारा ऐसा कोई नियम लागू नहीं किया गया है। ऐसे किसी भी फ़र्ज़ी/अस्पष्ट सूचना को फॉरवर्ड ना करें।

न करें फॉरवर्ड- हो सकता है ये खबर आपके पास भी सोशल मीडिया के विभिन्न माध्यमों के जरिए पहुंची हो या हो सकता है भविष्य में आए। तो सावधान हो जाइए ये दावा पूरी तरह फर्जी है और इस पर यकीन न करें और न ही इसे आगे फारवर्ड करें।

ज्यादा से ज्यादा शेयर करें-  हां, इस खबर का जो सच हमने आपको बताया है, इसको जरुर ज्यादा से ज्यादा शेयर करें और ज्यादा से ज्यादा लोगों तक पहुंचाएं ताकि लोग फर्जी खबरों के झांसे में न आएं और सच जान सकें।

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